भाजपा मिशन बंगाल के चुनावी रथ पर हुयी सवार

अपनी चुनावी रणनीति को दिया फाइनल टच
मिशन बंगाल 2026: बीजेपी का पाँच सूत्री वार

न्यूज़ बॉक्स संवाददाता
नयी दिल्ली/कोलकाता :पश्चिम बंगाल विधानसभा चुनाव 2026 से पहले सियासी पारा चढ़ चुका है।बीजेपी ने ‘मिशन बंगाल’ के तहत अपनी चुनावी रणनीति को फाइनल टच दे दिया है।
पाँच मुद्दे, एक लक्ष्य—ममता बनर्जी की सत्ता को सीधी चुनौती।
बीजेपी ने बंगाल के रण के लिए पाँच सूत्री एजेंडा उतार दिया है।
पार्टी पूरी ताकत के साथ मैदान में उतरने जा रही है।
पहला बड़ा मुद्दा—अवैध प्रवास।
बीजेपी बांग्लादेश से होने वाली घुसपैठ को चुनावी सवाल बना रही है।दावा है कि सत्ता में आते ही केंद्र और राज्य मिलकर इस पर सख़्ती करेंगे।बीजेपी का आरोप है कि पश्चिम बंगाल इकलौता राज्य है, जहाँ रोहिंग्याओं को संरक्षण मिल रहा है।

दूसरा मोर्चा—कानून-व्यवस्था और महिला सुरक्षा।बीजेपी का आरोप है कि राज्य में अपराध बढ़े हैं और महिलाएं खुद को असुरक्षित महसूस कर रही हैं।
प्रधानमंत्री समेत कई केंद्रीय नेताओं ने बंगाल की हालत को ‘महाजंगलराज’ करार दिया है। भ्रष्टाचार भी बड़ा हथियार है।
शिक्षक भर्ती घोटाला, कोयला और रेत खनन जैसे मामलों को बीजेपी सीधे जनता के सामने रखेगी।
पार्टी का दावा है कि भ्रष्टाचार बंगाल में सिस्टम का हिस्सा बन चुका है।

तीसरा फोकस—संगठन और सामाजिक समीकरण।पार्टी संगठन को बूथ स्तर तक मजबूत करने में जुटी है।
हिंदू मतदाताओं को जोड़ने के साथ मुस्लिम वोट बैंक में भी सेंध लगाने की कोशिश है।
मस्जिद विवाद के बाद मंदिर का मुद्दा उठना इसी रणनीति का हिस्सा माना जा रहा है।

कुल मिलाकर, ‘मिशन बंगाल’ के तहत बीजेपी ने अपने सभी पत्ते खोल दिए हैं।
अब देखना होगा कि ये सियासी दांव ममता बनर्जी के गढ़ में कितनी दरार डाल पाते हैं—
फैसला होगा, 2026 के रण में।

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